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आज हम आपको यहां पर अश्वगंधा का सेवन कैसे किया जाए इसकी पूरी जानकारी देंगे। जैसा कि आप सभी जानते हैं कि अश्वगंधा एक है आयुर्वेदिक जड़ी बूटी है जिसके सेवन से बहुत ही घातक बीमारियों को दूर किया जा सकता है। अश्वगंधा में एंटीऑक्सीडेंट्स, एंटी इन्फ्लेमेटरी, और एंटीबैक्टीरियल जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं जो हमारे शरीर को स्वस्थ रखने में मदद करते हैं। यदि आप अश्वगंधा का सेवन घी और दूध के साथ करते हैं तो इससे आपको वजन बढ़ाने में मदद मिलती है। अश्वगंधा के सेवन से कैंसर जैसी बीमारियों से लड़ने में मदद मिलती है। इसके अलावा अश्वगंधा के सेवन से मानसिक तनाव से छुटकारा पाया जा सकता है।
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दूध और औषधि का मिश्रण शरीर में ज्यादा असरदार होता है और इसका प्रभाव बहुत जल्द दिखने लगता है।
आयुर्वेद के लेख चरक संहिता में दूध और अश्वगंधा को साथ लेने की बात कही गयी है। इस लेख में ‘कार्य कारण सिद्धांत’ के नाम से इस बारे में जानकारी दी गयी है।
आयुर्वेद में कहा गया है, ‘सर्वदा सर्व भावनाम सामन्यम वृद्धि कारनाम।’ इसका अर्थ है कि शरीर में यदि किसी पदार्थ की मात्रा बढ़ रही है, तो उससे सम्बंधित बाहरी पदार्थों की भी मात्रा बढ़ रही है।
अश्वगंधा और दूध में ऐसी ही विशेषतायें हैं।
अश्वगंधा और दूध दोनों ही ओजस को पोषकता पहुंचाते हैं। दोनों एक दूसरे को ऊर्जा देते हैं।
जब कोई व्यक्ति इन्हें साथ लेता है, तब उसके शरीर में मौजूद कोई भी रोग दूर हो जाता है। इनका मिश्रण तीनों दोष में भी सहायक है।
इन्हीं कारणों से अश्वगंधा को दूध के साथ लिए जाने की सलाह दी जाती है।
टीबी जैसी बिमारी में अश्वगंधा और दूध साथ लेने से आराम मिलता है।
अश्वगंधा और दूध साथ लेने से शरीर हष्ट पुष्ट बनता है।
आयुर्वेद के साधु सुश्रुत ने कहा था कि अश्वगंधा को दूध के साथ लेने से वत्त दोष में आराम मिलता है।
अश्गंधा के पाउडर का सेवन सीमित मात्रा में ही करना चाहिए। आयुर्वेद के अनुसार रोजाना एक या दो चम्मच (3-6 ग्राम) ही पर्याप्त है। आमतौर पर इसे पानी में उबालकर सेवन किया जाता है या फिर आप दूध में मिलाकर इसका काढ़ा बना ले और फिर पियें
दो चम्मच अश्गंधा की जड़ लें।
इसे तीन कप उबलते हुए पानी में डालें।
लगभग 15 मिनट तक इसे उबालें।
अब आंच बंद कर दें और मिश्रण को छान लें।
अब रोजाना एक चौथाई कप इसका सेवन करें।
-अश्वगंधा लीफ एक्सट्रेक्ट :
एक चम्मच अश्वगंधा रूट या पत्तियों के पाउडर से लगभग 300 मिलीग्राम कंसन्ट्रेटेड एक्सट्रेक्ट बनाएं। अश्वगंधा पर कई शोधों से यह निष्कर्ष निकला गया है कि रोजाना 600-1200 मिलीग्राम अश्वगंधा एक्सट्रेक्ट का सेवन करना सही रहता है।
अगर आप सीमित मात्रा में अश्वगंधा का सेवन करें तो इससे कोई भी साइड इफ़ेक्ट नहीं होता है। अगर आप ज़रूरत सेज्यादा इसका सेवन करे हैं तो इससे एसिडिटी, अल्सर, स्किन रैशेज और एंग्जायटी का खतरा हो सकता है। गर्भवती महिलायें, हाइपरटेंशन और लीवर से जुड़े रोगों के मरीजों को इसका सेवन बिना डॉक्टर की सलाह के नहीं करना चाहिए।
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Preetipatelpreetipatel1050@gmail.com | पोस्ट किया
हमें अश्वगंधा का उपयोग पानी में उबालकर करना चाहिए। क्योंकि आमतौर पर बहुत सारे ऐसे लोग होते हैं जो पहले इसका चूर्ण बना लेते हैं। इसके बाद इसे पानी में डालकर उबलते हैं और ठंडा होने के बाद इसका सेवन करते हैं। इसको आप दूध में मिलाकर भी पी सकते हैं। अश्वगंधा आयुर्वेदिक जड़ी बूटी होती है जिससे कई सारे रोग ठीक होते हैं। यह कैंसर जैसी बीमारी से लड़ने में भी सक्षम होती है। अश्वगंधा हमारे बालों के लिए भी बहुत अच्छा माना जाता है।
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अश्वगंधा का सेवन कई तरह से कर सकते है जैसे कि 1-2 गिलास पानी मे अश्वगंधा डालकर उबालकर छानकर पीने से कई सारी बीमारियां ठीक हो जाती है।
इसके अलावा पुरुषों को रात के समय 1गिलास दूध मे 1चम्मच अश्वगंधा पाउडर मिलाकर पीने से पुरुषो के शरीर मे ताकत आती है और किसी भी प्रकार से सम्भोग के दौरान दिक्क़तो का सामना नहीं करना पड़ता है, क्योंकि अश्वगंधा सेक्स पावर को बढ़ाता है।
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दोस्तों आप सभी को पता है कि प्राचीन समय से ही अश्वगंधा का उपयोग आयुर्वेदिक रूप से किया जा रहा है अश्वगंधा का उपयोग कई बीमारियों को ठीक करने के लिए भी किया जाता है लेकिन आज इस पोस्ट में हम आपको बताएंगे कि आप अश्वगंधा का सेवन कैसे कर सकते है अश्वगंधा का उपयोग आप पाउडर के रूप में या फिर कैप्सूल के रूप में भी कर सकते हैं अश्वगंधा के पाउडर को दूध में मिलाकर पीना चाहिए अश्वगंधा का रोजाना रात में सेवन करने से शरीर मजबूत बनता है और किसी भी प्रकार की कमजोरी नहीं होती है।
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