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G20 (Group of Twenty) एक अंतर्राष्ट्रीय मंच है जो दुनिया की प्रमुख आर्थिक शक्तियों को एकत्र करता है। इसमें 19 देशों और यूरोपीय संघ (EU) का सदस्यता है, और इसका गठन 1999 में हुआ था। इसका उद्देश्य वैश्विक अर्थव्यवस्था में सुधार, स्थिरता और समृद्धि को बढ़ावा देना है। G20 के सदस्य देशों के पास विश्व की जीडीपी का लगभग 85% और वैश्विक व्यापार का 75% हिस्सा होता है, इस प्रकार यह एक महत्वपूर्ण आर्थिक मंच बन चुका है। G20 का मुख्य उद्देश्य वैश्विक आर्थिक मुद्दों पर चर्चा करना और समाधान निकालने के लिए नीति निर्माण करना है।
G20 का गठन 1999 में किया गया था, जब दुनिया के प्रमुख देशों ने एशियाई वित्तीय संकट (1997-1998) के बाद वैश्विक आर्थिक और वित्तीय स्थिरता की जरूरत को महसूस किया। इस संकट ने यह स्पष्ट कर दिया कि वैश्विक अर्थव्यवस्था को लेकर केवल विकसित देशों के बीच संवाद ही पर्याप्त नहीं है, बल्कि विकासशील देशों को भी इसमें शामिल किया जाना चाहिए। इसलिए, G20 का गठन किया गया, जो एक समावेशी मंच के रूप में काम करता है।
वैश्विक आर्थिक स्थिरता को बढ़ावा देना
G20 का सबसे मुख्य उद्देश्य वैश्विक आर्थिक स्थिरता को बनाए रखना है। यह मंच सदस्य देशों के बीच समन्वय स्थापित करने का कार्य करता है ताकि वैश्विक आर्थिक संकट से बचने के उपायों पर विचार किया जा सके। उदाहरण स्वरूप, 2008 के वैश्विक वित्तीय संकट के समय, G20 ने संकट को नियंत्रित करने के लिए कई उपायों पर चर्चा की थी।
विकासशील देशों का समर्थन
G20 के मंच पर विकासशील देशों की आवाज़ को महत्व दिया जाता है। यह सदस्य देशों को वैश्विक आर्थिक विकास में उनके योगदान को पहचानने और विकासशील देशों के आर्थिक विकास के लिए सहयोग प्रदान करने का अवसर देता है। G20 का यह उद्देश्य विकासशील देशों के लिए नीतिगत सुधारों, तकनीकी सहायता, और वैश्विक व्यापार अवसरों को बढ़ावा देना है।
वाणिज्यिक और वित्तीय स्थिरता
G20 के सदस्य देशों की प्राथमिकता यह सुनिश्चित करना है कि वैश्विक व्यापार और वित्तीय प्रणाली स्थिर और सुरक्षित रहे। यह मंच विभिन्न देशों के केंद्रीय बैंकों और वित्तीय संस्थानों के बीच समन्वय को बढ़ावा देता है ताकि विश्व अर्थव्यवस्था में किसी भी तरह की अस्थिरता या अनिश्चितता न हो। साथ ही, G20 मौद्रिक और वित्तीय नीति, जैसे- ब्याज दरों और मुद्रा विनिमय दरों पर विचार करने का एक मंच प्रदान करता है।
जलवायु परिवर्तन और सतत विकास
G20 का एक महत्वपूर्ण उद्देश्य पर्यावरण संरक्षण और सतत विकास को बढ़ावा देना है। जलवायु परिवर्तन, प्राकृतिक संसाधनों का दोहन और ऊर्जा संकट जैसे मुद्दे आज पूरी दुनिया के लिए चुनौती बन गए हैं। G20 देशों के लिए यह महत्वपूर्ण है कि वे जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए सामूहिक रूप से कार्य करें और स्वच्छ ऊर्जा, हरित प्रौद्योगिकी और पर्यावरण संरक्षण में योगदान दें।
अंतर्राष्ट्रीय व्यापार को बढ़ावा देना
G20 का उद्देश्य वैश्विक व्यापार को बढ़ावा देना और मुक्त व्यापार के सिद्धांतों को समर्थन देना है। यह मंच व्यापार अवरोधों को कम करने, बहुपक्षीय व्यापार वार्ताओं को प्रोत्साहित करने और व्यापारिक विवादों को हल करने का कार्य करता है। G20 देशों का लक्ष्य एक समान और न्यायसंगत वैश्विक व्यापार व्यवस्था का निर्माण करना है।
वैश्विक स्वास्थ्य और महामारी का प्रबंधन
COVID-19 महामारी ने यह साबित कर दिया कि वैश्विक स्वास्थ्य संकटों के लिए समन्वित प्रयासों की आवश्यकता है। G20 का उद्देश्य वैश्विक स्वास्थ्य संकटों का समाधान निकालने के लिए सदस्य देशों के बीच सहयोग बढ़ाना है। उदाहरण के लिए, महामारी के दौरान G20 ने वैक्सीन वितरण, चिकित्सा आपूर्ति, और सार्वजनिक स्वास्थ्य नीति पर चर्चा की थी।
डिजिटल अर्थव्यवस्था और नवाचार
G20 ने डिजिटल अर्थव्यवस्था को लेकर भी पहल की है। नई तकनीकी प्रगति, जैसे- आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI), ब्लॉकचेन, और साइबर सुरक्षा, वैश्विक अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहे हैं। G20 देशों का उद्देश्य इन तकनीकों का उपयोग करते हुए वैश्विक आर्थिक विकास को प्रोत्साहित करना है और साथ ही साइबर हमलों से बचाव के लिए सुरक्षा मानकों को निर्धारित करना है।
G20 का नेतृत्व प्रत्येक वर्ष एक सदस्य देश करता है, जिसे G20 प्रेसीडेंसी कहा जाता है। इस देश को G20 शिखर सम्मेलन (Summit) आयोजित करने का अधिकार मिलता है, जिसमें सभी सदस्य देशों के प्रमुख और उच्च अधिकारी शामिल होते हैं। G20 का सचिवालय इस सम्मेलन की योजना और निष्पादन में सहायता करता है। G20 के अलावा, कई कार्य समूह (Working Groups) और मंत्री समूह (Ministerial Groups) भी होते हैं, जो विभिन्न क्षेत्रों में विशिष्ट मुद्दों पर काम करते हैं।
G20 एक महत्वपूर्ण वैश्विक मंच है जो न केवल दुनिया की प्रमुख अर्थव्यवस्थाओं को जोड़ता है, बल्कि विकासशील देशों को भी मुख्यधारा में लाता है। इसका उद्देश्य वैश्विक आर्थिक स्थिरता, विकास, और समृद्धि को बढ़ावा देना है। इस मंच के माध्यम से सदस्य देश एकजुट होकर वैश्विक संकटों का समाधान ढूंढ़ने के लिए कार्य करते हैं, और एक समान और न्यायसंगत वैश्विक व्यवस्था की ओर अग्रसर होते हैं। G20 का महत्व भविष्य में और भी बढ़ने की संभावना है, क्योंकि वैश्विक चुनौतियां जैसे- जलवायु परिवर्तन, डिजिटल अर्थव्यवस्था, और स्वास्थ्य संकट दिन-प्रतिदिन अधिक जटिल होते जा रहे हैं।
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