पिछले कुछ सालो में गुजरात की राजनीति में कुछ युवा नेता उभर आये है जिस में से एक है अल्पेश ठाकोर। कुछ सामाजिक आँदोलन चला कर अपने आप को इन्होने एक नेता के तौर पर प्रोजेकट किया और कांग्रेस के आशीर्वाद से पिछले चुनाव में राधनपुर से विधायक भी बने।
इनकी तमन्ना अब और आगे बढ़कर संसद तक पहुँचने की है और यहां इन्हे साथ मिला भाजपा की तडजोड की राजनीति का। ऐसा माना जाता है की भाजपा ने उन्हें लोकसभा चुनाव में टिकट दिलाकर जिताने का और सांसद बनाने का प्रलोभन दिया है जिस के चलते अब अल्पेश ठाकोर कांग्रेस को अलविदा कहकर भाजपा में जाने की कतार में खड़े हो चुके है।

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पर क्या यह इतना आसान है और क्या अल्पेश को भाजपा लोकसभा चुनाव का टिकट देगा? अल्पेश के बीजेपी से जुड़ने के कदम से उनके समर्थको में काफी नाराजगी है।कांग्रेस भी अभी उन्हें समझाने में लगी हुई है की जिस से उसे एक सीट का नुकसान न हो।
हालांकि भाजपा को सिर्फ कांग्रेस के सीट्स तोड़ने में ज्यादा फायदा नजर आ रहा है और इसीलिए शायद राष्ट्रीय स्तर पर उस ने विधायकों की मार्केट लगाईं है। अल्पेश बीजेपी में जाएंगे की नहीं वो तो सिर्फ वक्त बताएगा पर प्रजा ने यह जरूर देखा की किस तरह उनके चुने हुए नेता बिक जाते है।