भारतीय संविधान विश्व का सबसे बड़ा संविधान कहा जाता है। इस में कई सारे अनुच्छेद है जिसके बारे में देश के आम लोगो को पता नहीं है और इसीलिए काफी अनुच्छेद विवादास्पद भी है। इन्ही में से एक विवादास्पद अनुच्छेद है १४७। इस के अनुसार संविधान में जहाँ कही भी कोई अर्थघटन करना हो तो विविध आर्टिक्ल को रिफर करना जरूरी बन जाता है जिस में से एक है इंडियन इंडिपेंडेंस एक्ट 1947, गवर्नमेंट ऑफ़ इंडिया एक्ट 1935 और प्रिवी कौंसिल एक्ट।
अब देश के आजाद होने से पहले कोई भी विवादस्पद मामला गवर्मेंट ऑफ़ इंडिया एक्ट 1935 और प्रिवी कौंसिल एक्ट के अनुसार सुनाया जाता था जो की अभी तक बदला नहीं गया हालांकि प्रिवी कौंसिल एक्ट अब इतना वजूद नहीं रखता पर अभी भी उसका अमल में होना कही ना कही देश के आजाद होने पर खतरा बयान करता है।
सौजन्य: न्यूज़ एक्सक्या है प्रिवी कौंसिल एक्ट?
इस एक्ट के तहज ब्रिटेन की महारानी आज भी भारत पर अपना अखत्यार रखती है और यह हकीकत बयान ऐसे होती है की उन्हें भारत आने के लिए वीसा की जरुरत नहीं होती। ऐसा कहा जाता है की इस एक्ट के अनुसार भारत सिर्फ 99 साल की लीज पर दिया गया है और उस के बाद अगर प्रिवी कौंसिल एक्ट अमल में बना रहता है तो ब्रिटेन का शासन उस पर लागू हो सकता है । यह बड़े ताज्जुब की बात है की भारत ने अभी तक प्रिवी कौंसिल एक्ट को ख़तम नहीं किया और इसी के चलते अनुच्छेद 147 आज भी एक विवादास्पद अनुच्छेद बना हुआ है।