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फायर ब्रांड हिंदुत्ववादी नेता और यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को देश का भावी प्रधानमंत्री माना जाता है. मुख्यमंत्री बनने के पूर्व यूपी की गोरखपुर लोकसभा सीट से सांसद रहे योगी आदित्यनाथ की राजनीति में आने की कहानी बड़ी दिलचस्प है. बताया जाता है कि बाजार में हुए एक झगड़े ने योगी आदित्यनाथ को राजनीति में धकेल दिया.
करीब 22 साल पहले की बात है. गोरखपुर शहर के गोल बाजार इलाके में स्थानीय इंटर कॉलेज क कुछ छात्रों का एक रेडिमेड कपड़ा व्यवसायी से विवाद हो गया. दुकानदार ने इस झगड़े में रिवॉल्वर निकाल ली और फायरिंग कर दिया.
दो दिन के बाद योगी आदित्यनाथ की अगुवाई में छात्रों ने दुकानदार के खिलाफ जबर्दस्त प्रदर्शन किया. इस दौरान योगी एसएसपी आवास की छत पर चढ़ गए थें. इस तरह से गोरखपुर की राजनीति में यह एक एंग्री यंग मैन की धमाकेदार एंट्री थी.
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गोरखपुर शहर के मुख्य बाज़ार गोलघर में गोरखनाथ मंदिर से संचालित इंटर कॉलेज में पढ़ने वाले कुछ छात्र एक दुकान पर कपड़ा ख़रीदने आए और उनका दुकानदार से विवाद हो गया. दुकानदार पर हमला हुआ, तो उसने रिवॉल्वर निकाल ली. दो दिन बाद दुकानदार के ख़िलाफ़ कार्रवाई की मांग को लेकर एक युवा योगी की अगुवाई में छात्रों ने उग्र प्रदर्शन किया और वे एसएसपी आवास की दीवार पर भी चढ़ गए. यह योगी आदित्यनाथ थे, जिन्होंने कुछ समय पहले ही 15 फरवरी 1994 को नाथ संप्रदाय के सबसे प्रमुख मठ गोरखनाथ मंदिर के उत्तराधिकारी के रूप में अपने गुरु महंत अवैद्यनाथ से दीक्षा ली थी.
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