माता सीता ने किन लोगों को श्राप दिया था और क्यों ? - letsdiskuss
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Ram kumar

Technical executive - Intarvo technologies | पोस्ट किया | ज्योतिष


माता सीता ने किन लोगों को श्राप दिया था और क्यों ?


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| पोस्ट किया


क्या आप जानते हैं कि माता सीता ने किन-किन लोगों को श्राप दिया था और क्यों? तो चलिए हम आपको बताते हैं की माता सीता ने पंडित को श्राप दिया था कि वे चाहे कितना भी कमा ले लेकिन उसकी दरिद्रता कभी दूर नहीं होगी। दूसरा श्राप माता सीता ने कौवे को दिया था और कौवे को कहा कि उसका अकेले खाने से कभी भी पेट नहीं भरेगा और उसकी मृत्यु अचानक हो जाएगी। तीसरा श्राप माता सीता ने फल्गु नदी को दिया था और उन्होंने कहा था की पानी गिरने के बावजूद भी नदी ऊपर से सुखी रहेगी। चौथा श्राप माता सीता ने गाय को दिया था और कहा था कि तुम्हारा पेट तो भरेगा लेकिन लोगों के झूठे भोजन से भरेगा।Letsdiskuss


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Astrologer,Shiv shakti Jyotish Kendra | पोस्ट किया


जिन लोगों को माता सीता ने श्राप दिया वो लोग आज भी इस श्राप से गुज़र रहें हैं | माता सीता के द्वारा श्राप क्यों दिया गया इसका एक महत्वपूर्ण कारण हैं | त्रेता युग में जब राम को वनवास हुआ था, तब इस दुःख से दुखी होकर राम के पिता दशरथ जी का स्वर्गवास हो गया | अपने पिता की मृत्यु के बाद उनका पिंडदान करने के लिए राम और लक्ष्मण उनके पिंड दान का सामान एकत्रित करने के लिए चले गए |


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बहुत समय हो गया परन्तु वह दोनों भाई वापस नहीं आये | पिंडदान का समय हो गया और सीता जी ने अपने ससुर दशरथ जी का पिंडदान कर दिया | इसके बाद राम और लक्ष्मण दोनों भाई आए और सीता जी ने उनको बता दिया कि उन्होंने पिंडदान कर दिया है | उन्होंने कहा अगर आपको विश्वाश न हो तो आप गाय,फाल्गुनी नदी,केतकी के फूल या पंडित जी से पूछ लो | परन्तु इन सभी ने मना कर दिया | सिर्फ बरगदके पेड़ ने कहा कि हाँ मैंने देखा है, सीता जी ने पिंडदान किया है |

तब सीता जी ने इन चारों -गाय,फाल्गुनी नदी,केतकी का फूल और पंडित कोश्राप दिया |

गाय :- गाय को यह श्राप है, कि उसकी पूजा तो जरूर होगी परन्तु गाय को झूठा खाना ही मिलेगा |


फाल्गुनी नदी :- इस नदी को यह श्राप है, कि यह नाम की नदी होगी, यह किसी की प्यास नहीं बुझा सकती |


केतकी का फूल :- केतकी का फूल बहुत ही सुन्दर होगा परन्तु ये भगवान के पूजन में कभी इस्तेमाल नहीं होगा |


पंडित :- पंडित को यह श्राप था वह कितनी ही मेहनत कर लें परन्तु उसको हमेशा मांग के ही खाना होगा |


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